रायपुर नगर निगम ने बारिश के पानी को संचित कर भू-जल स्तर को बढ़ाने की दिशा में एक ऐतिहासिक पहल की है। कलेक्टर व नगर निगम प्रशासक डॉ. गौरव कुमार सिंह और निगम आयुक्त श्री अबिनाश मिश्रा के कुशल नेतृत्व में, क्रेडाई (कन्फेडरेशन ऑफ रियल एस्टेट डेवलपर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया) के सहयोग से, महज दो माह में 900 से अधिक रेन वाटर पिट तैयार किए गए। इस नवाचार को भारत सरकार ने जनभागीदारी से किए गए सर्वश्रेष्ठ कार्यों में शामिल करते हुए इसे अन्य नगरीय निकायों के लिए प्रेरणास्त्रोत बताया है।
दो माह में बने 900+ रेन वाटर पिट, नेशनल बिल्डर्स कॉन्फ्रेंस में प्रस्तुत होगा सफलता मॉडल
जल संरक्षण के इस मॉडल को नेशनल बिल्डर्स कॉन्फ्रेंस में प्रस्तुत करने के लिए रायपुर नगर निगम को विशेष आमंत्रण मिला है। इस सम्मेलन में नगर निगम की टीम अपनी रणनीति और सफलता का रोडमैप साझा करेगी, जिससे देशभर के बिल्डर्स और आर्किटेक्ट प्रेरणा ले सकेंगे।
जल संरक्षण के लिए ठोस पहल
नगर निगम आयुक्त श्री मिश्रा की पहल पर स्थानीय हाइड्रोलॉजिस्ट डॉ. के. पाणिग्रही के तकनीकी मार्गदर्शन में योजना तैयार की गई। इसके तहत उन कॉलोनियों की पहचान की गई, जहां रेन वाटर हार्वेस्टिंग की सुविधा नहीं थी। निगम और क्रेडाई के संयुक्त प्रयास से इन कॉलोनियों में आधुनिक तकनीक का उपयोग कर तेजी से रेन वाटर पिट बनाए गए।
राष्ट्रीय स्तर पर सराहना
भारत सरकार के जल शक्ति विभाग ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान रायपुर नगर निगम के इस कार्य की सराहना करते हुए अन्य नगरीय निकायों को इसे अपनाने का सुझाव दिया। आगामी मार्च में नेशनल बिल्डर्स मीट में रायपुर नगर निगम की टीम अपनी इस सफलता का प्रदर्शन करेगी।
साझेदारी और सामूहिक प्रयास की मिसाल
आयुक्त श्री मिश्रा ने क्रेडाई और बिल्डर्स की सक्रिय भूमिका की सराहना करते हुए कहा कि जन सहभागिता और तकनीक के समन्वय से बड़े लक्ष्यों को तेजी से हासिल किया जा सकता है। इस उपलब्धि के लिए नगर निगम की टीम और सभी सहयोगियों को बधाई दी गई है।
रायपुर का जल संरक्षण मॉडल: देश के लिए प्रेरणारा
यपुर नगर निगम द्वारा विकसित यह मॉडल न केवल पर्यावरण संरक्षण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है, बल्कि अन्य शहरों के लिए भी एक सफल उदाहरण है।