जर्मनी में छत्तीसगढ़ के डॉ. उत्कर्ष त्रिवेदी को मिला अंतरराष्ट्रीय सम्मान

रायपुर। छत्तीसगढ़ के बेटे डॉ. उत्कर्ष त्रिवेदी ने एक बार फिर प्रदेश का गौरव बढ़ाया है। होम्योपैथिक चिकित्सा पद्धति में अनुसंधान और नवाचार के क्षेत्र में उनके उल्लेखनीय योगदान के लिए जर्मनी में उन्हें विशेष सम्मान से नवाजा गया।

11 अप्रैल को होम्योपैथी के जनक डॉ. हनीमैन के जन्मदिवस के अवसर पर आयोजित अंतरराष्ट्रीय समिट में डॉ. त्रिवेदी को यह सम्मान मिला। कार्यक्रम में सीरिया, दुबई, अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और जर्मनी समेत कई देशों के 100 से अधिक चिकित्सक शामिल हुए। भारत से एकमात्र प्रतिनिधि के रूप में डॉ. त्रिवेदी ने अपनी उपस्थिति दर्ज कराई।

डॉ. त्रिवेदी को जर्मनी के कोथेंन शहर — जो होम्योपैथी की जन्मस्थली माना जाता है — में विशेष आमंत्रण भी मिला। उन्हें यह सम्मान होम्योपैथी में आधुनिक चिकित्सा विज्ञान के समन्वय, कोरोना काल में प्रभावी सेवा और जटिल रोगों के सफल उपचार के लिए प्रदान किया गया।

डॉ. त्रिवेदी का प्रयास रहा है कि होम्योपैथी को वैज्ञानिक दृष्टिकोण से आगे बढ़ाया जाए। उनके शोध और उपचार विधियों ने न सिर्फ भारत, बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी मरीजों को नया जीवन दिया है। आज वे चिकित्सा जगत में एक प्रेरणास्रोत बनकर उभरे हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *