“बारिश का कहर: पूर्वोत्तर से लेकर उत्तर भारत तक बाढ़, भूस्खलन और आंधी से तबाही”

देश के उत्तर-पूर्वी राज्यों में भारी बारिश ने जनजीवन अस्त-व्यस्त कर दिया है। सिक्किम, मिजोरम, असम और मणिपुर में बाढ़ और लैंडस्लाइड की वजह से लाखों लोग प्रभावित हैं। सिक्किम के लाचेन में भारतीय सेना ने मंगलवार को 30 टूरिस्ट को एयरलिफ्ट कर सुरक्षित रेस्क्यू किया, जबकि अब भी 83 लोग फंसे हुए हैं और 6 लोग लापता हैं।

मिजोरम में हालात बेहद गंभीर हैं। राज्य में पिछले 11 दिनों में 626 लैंडस्लाइड की घटनाएं हो चुकी हैं, जिसमें 5 लोगों की जान गई है। सरकार ने 13 जून तक राज्य में टूरिस्ट्स के प्रवेश पर रोक की एडवाइजरी जारी की है।

असम में मंगलवार को बाढ़ ने 6 और लोगों की जान ले ली, जिससे मृतकों का आंकड़ा 17 हो गया है। 21 जिलों में 6.5 लाख से ज्यादा लोग प्रभावित हैं और 7 नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं।

मणिपुर में बाढ़ की चपेट में आए 1.64 लाख लोगों में से करीब 4 हजार को रेस्क्यू किया गया है। 35 हजार से अधिक घरों को नुकसान पहुंचा है, और बीते 4 दिन में 100 से ज्यादा लैंडस्लाइड हो चुके हैं। यहां मणिपुर-नगालैंड को जोड़ने वाला NH-2 का एक बड़ा हिस्सा भी धंस गया है।

इधर, मध्य भारत में भी मौसम का कहर जारी है। मध्य प्रदेश, बिहार और उत्तर प्रदेश में आंधी-बारिश से हालात खराब हैं। एमपी के 17 जिलों में 60 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से आंधी का अलर्ट है। भोपाल, इंदौर और उज्जैन में तेज बारिश हुई है, जबकि राजस्थान के 29 जिलों में यलो अलर्ट जारी किया गया है।

उत्तर प्रदेश में सहारनपुर, शामली, मुजफ्फरनगर और बिजनौर में भारी बारिश की चेतावनी दी गई है। वहीं, झारखंड के पूर्वी हिस्सों में भी आज गरज के साथ बारिश हो सकती है। रांची सहित कई जिलों में बादल छाए रहने और हल्की बारिश के आसार हैं।

हरियाणा में मंगलवार को गुरुग्राम समेत कई इलाकों में बारिश और तेज आंधी ने दस्तक दी। बुधवार को कैथल, करनाल, सिरसा और हिसार जैसे जिलों में धूल भरी हवाएं और हल्की बारिश की संभावना जताई गई है।

देशभर में बदलते मौसम के इस रौद्र रूप ने चिंता बढ़ा दी है। मौसम विभाग लगातार अलर्ट जारी कर रहा है और लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी जा रही है ।