स्मार्ट मीटर पर सरचार्ज की तैयारी, उपभोक्ताओं पर 367 करोड़ का भार!

छत्तीसगढ़ में बिजली उपभोक्ताओं पर स्मार्ट मीटर के नाम पर अतिरिक्त बोझ डालने की तैयारी की जा रही है। पावर वितरण कंपनी (CSPDCL) ने 367 करोड़ रुपए की वसूली के लिए छत्तीसगढ़ राज्य विद्युत नियामक आयोग (CSERC) में याचिका दाखिल की है। यह रकम स्मार्ट मीटर की लागत के तौर पर नए बिजली टैरिफ में जोड़े जाने का प्रस्ताव है।
🔧 अब तक साढ़े 11 लाख स्मार्ट मीटर लगे
प्रदेश में पुराने इलेक्ट्रॉनिक मीटर की जगह स्मार्ट मीटर लगाने का काम तेजी से चल रहा है। अब तक 11.5 लाख से ज्यादा घरेलू कनेक्शनों में स्मार्ट मीटर लगाए जा चुके हैं। उपभोक्ताओं को अभी तक इसके लिए अलग से कोई शुल्क नहीं देना पड़ा है, लेकिन आने वाले समय में यह बोझ सरचार्ज के रूप में सामने आ सकता है।
📉 टैरिफ में बढ़ोतरी की आशंका
बिजली वितरण कंपनी ने इससे पहले 4559 करोड़ रुपए के घाटे का हवाला देते हुए टैरिफ में बढ़ोतरी की मांग की थी। अब 367 करोड़ के स्मार्ट मीटर सरचार्ज को जोड़ने के बाद यह अंतर बढ़कर 4926 करोड़ हो गया है। जानकारों का कहना है कि सीधा चार्ज न लगाकर, इसे स्लैब या सरचार्ज के जरिए वसूला जा सकता है।
🕒 नए टैरिफ की घोषणा जून तक संभव
वर्तमान में आयोग के दो सदस्यों के पद रिक्त हैं। इनकी नियुक्ति के बाद जनसुनवाई होगी और फिर जून तक नए टैरिफ की घोषणा की संभावना है।
🔌 प्रीपेड सिस्टम आने में अभी समय
फिलहाल स्मार्ट मीटर से रीडिंग और बिलिंग पुराने सिस्टम के मुताबिक ही हो रही है। प्रीपेड स्मार्ट मीटर सिस्टम को शुरू करने में अभी कुछ महीने लग सकते हैं। इसके बाद उपभोक्ता मोबाइल रिचार्ज की तरह बैलेंस डालकर बिजली इस्तेमाल कर सकेंगे।